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कब हैं 2024 में गुड़ फ्राइडे तारीख

गुड फ्राइडे ईसाई लोगों के द्वारा मनाए जाने वाला एक त्यौहार है। अक्सर अप्रैल महीने में यह त्यौहार मनाया जाता है। कुछ जगहों पर इस तरीके का भी जिक्र है कि गुड़ फ्राइडे एक काला दिवस है और इसको ब्लैक डे के रूप में ईसाई लोग मनाते हैं। गुड फ्राइडे को होली फ्राइडे, ब्लैक फ्राईडे और ग्रेट फ्राइडे भी बोलते हैं। इसी दिन ईसा मसीह को धार्मिक कट्टरपंथियों पाखंडी और रोम के शासक ने सूली पर चढ़ा दिया था। कुछ जगहों पर इस दिन काफी शोक मनाया जाता है क्योंकि लोगों का ऐसा मानना है कि किसी दिन प्रभु ईसा मसीह को तमाम शारीरिक यातना देने के बाद सूली पर चढ़ा दिया था। आइए जानते हैं कि गुड फ्राइडे के पीछे पूरा इतिहास क्या है।

गुड फ्राइडे 2024 पर्व का महत्व

ईसाई धर्म को मानने वाले लोगों का कहना है कि इसी दिन भगवान ईसा मसीह ने अपने प्राण त्यागे थे, इसलिए यह दिन उनके लिए काफी महत्व रखता है। इतिहास में इस बात का जिक्र है कि ईसा मसीह ने जिस दिन अपने प्राण त्यागे थे वह दिन शुक्रवार का दिन था और प्रभु यीशु मसीह की याद में ही गुड फ्राइडे मनाया जाता है लेकिन कुछ कथाओं का ऐसा भी मानना है कि ईसा मसीह अपनी मृत्यु के 3 दिन बाद उन्हें जीवित हुए थे और उस दिन रविवार था और उस रविवार को ईस्टर बोला जाता है। गुड फ्राइडे और ईस्टर संडे दोनों का ईसाई धर्म में काफी महत्व है।

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कैसे मनाया जाता है गुड फ्राइडे

गुड फ्राइडे वाले दिन ईसाई धर्म को मानने वाले सभी लोग गिरजाघर जाकर प्रभु यीशु के लिए मानवता के संदेश और उनके बलिदान के लिए प्रभु को याद करते हैं। इस दिन चर्च में घंटा नहीं बजाया जाता बल्कि इसके बदले लकड़ी के खटखटे से आवाज की जाती है। अनुयायी लोग ईसा मसीह के चिन्ह क्रॉस को चूमकर उन्हें याद करते हैं और साथ में मोमबत्तियां जलाते हुए देखे जाते हैं।

क्यों मनाया जाता हैं गुड फ्राइडे

कहा जाता है कि 2000 साल पहले यरुशलम के गैलिली प्रांत में ईसा लोगों को मानवता,एकता और अहिंसा का उपदेश दे रहे थे। उनके उपदेशों से प्रभावित होकर वहां के लोगों ने उन्हें ईश्वर मानना शुरू कर दिया। इस बात से वहां धार्मिक अंधविश्वास फैलाने वाले धर्मगुरु उनसे चिढ़ने लग गए।

इतिहास में इस तरीके की कहानियों का जिक्र आता है कि जब ईसा मसीह की लोकप्रियता लगातार बढ़ रही थी तो इससे धर्मगुरु को काफी परेशानी हुई और उन्होंने भगवान यीशु मसीह की शिकायत रोम के शासक पिलातुस से कर दी थी। पिलातुस ने भगवान ईसा मसीह को मृत्युदंड का फरमान जारी कर दिया था। भगवान यीशु मसीह को पहले कोडो से पीटा गया, उसके बाद इनको तो कांटों भरा ताज पहनाया गया और अंत में सूली पर लटका दिया गया था।

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भारत मे भी धूमधाम से मनाया जाता है गुड फ्राइडे

भारत में भी गुड फ्राइडे काफी धूमधाम से जाता है। आपको बता दें कि भारत में भी अच्छी खासी संख्या में ईसाई लोग रहते हैं। गुड फ्राइडे के दिन चर्च में काफी अधिक संख्या में ईसाई लोग इकट्ठा होते हैं और वह इस दिन प्रार्थना करते हैं। भारत के कई राज्यों में तो गुड फ्राइडे के दिन स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी जाती है। असम, गोवा और केरल जैसे कुछ राज्यों में जहां ईसाई धर्म वाले लोग अच्छी संख्या में रहते हैं वहां पर गुड फ्राइडे, ईस्टर और क्रिसमस जैसे त्यौहार अच्छे तरीके से बनाए जाते हैं। साल 2024 में गुड फ्राइडे 29 मार्च को मनाया जाने वाला है।

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